इक तरफ़ा प्यार

बेक़रार लम्हें हैं, कुछ क़रार ही दे जाते,
दिल के बंजर बाग़ों को इक बहार ही दे जाते.
सच्चे प्यार के बदले, झूठा प्यार ही दे जाते..

(बड़ा ख़ुदगर्ज़ है.. इक तरफ़ा प्यार
जाँ-लेवा मर्ज़ है.. इक तरफ़ा प्यार )  x 2

तुमको खोकर यूँ चैन गँवाया,
(आशिक़ी, दर-ब-दर हो चली )  x 2
जुनूँ की हद भी लाँघ दी मैंने,
मुहब्बत, दर्द-ए-सर हो चली ..

इन सूनी बाहों को, बाहों का हार ही दे जाते
सच्चे प्यार के बदले झूठा प्यार ही दे जाते..

(बड़ा ख़ुदगर्ज़ है.. इक तरफ़ा प्यार
जाँ-लेवा मर्ज़ है.. इक तरफ़ा प्यार )  x 2

भटकता ही रहा ताउम्र सफ़र में,
न मिल सकी फिर भी मंज़िल मुझे..
बस वफ़ा ही तो माँगी थी तुझसे
तू समझा नहीं पर क़ाबिल मुझे..

जो फूलों का हक़दार नहीं था, ख़ार ही दे जाते,
(सच्चे प्यार के बदले, झूठा प्यार ही दे जाते..)  x 2

(बड़ा ख़ुदगर्ज़ है.. इक तरफ़ा प्यार
जाँ-लेवा मर्ज़ है.. इक तरफ़ा प्यार )  x 4

बेक़रार लम्हें हैं, कुछ क़रार ही दे जाते,
दिल के बंजर बाग़ों को इक बहार ही दे जाते.
सच्चे प्यार के बदले, झूठा प्यार ही दे जाते..

© यमित पुनेठा 'ज़ैफ़'

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